COUGH - Introduction, Causes, symptoms, Ayurvedic Remedies "पुरानी से पुरानी खांसी का घरेलू उपचार " "11Best Ayurvedic Treatments "

परिचय 


मौसम बदलते ही गले में खराश होना आम बात है। सामान्य शब्दों में गले में खराश, गले का संक्रमण (Infection) है। आमतौर पर गले का संक्रमण (Infection) वायरस या बैक्टीरिया के कारण होता है।


 लेकिन ज्यादा गले की खराश (Sore Throat) वायरस के कारण होती है। यह कुछ समय बाद अपने आप ठीक हो जाता है लेकिन यह जितने दिन रहता है काफी कष्ट देता है।

खांसी-जुकाम हर बदलते मौसम के साथ आने वाली समस्या है।मौसम में बदलाव अपने साथ लेकर आता है सर्दी-खांसी और बुखार. खासकर सर्दियों में खांसी, जुखाम, गले में खिचखिच, शरीर, जोड़ों, गले, आंखों में दर्द जैसी कई परेशानियां होती हैं।  इसके लिए कई दवाइयां ली जाती है।. कई तरह के एंटीबायोटिक्स खाई जाती हैं, लेकिन आप इन सब परेशानियों को बिना दवाइयों के भी ठीक कर सकते हैं। आपके किचन और घर में मौजूद चीज़ों से भी सर्दी-खांसी का इलाज हो सकता है।खांसी बैक्टीरियल या वायरल इन्फेक्शन, एलर्जी, साइनस इन्फेक्शन या ठण्ड के कारण हो सकती है लेकिन हमारे देश में हर परेशानी के लिए लोग डॉक्टरों के पास नहीं जाते। हमारी ही किचन में कई ऐसे नुस्खे छिपे होते हैं जिनसे खांसी-जुकाम जैसी छोटी-मोटी बीमारियां फुर्र हो जाती हैं। तो आइए हम आपको बताते हैं खांसी-जुकाम के कारण व रामबाण घरेलू नुस्खे।

 

  कारण


• बदलता मौसम में अकसर खराश की समस्या का सामना करना पड़ता है। 

 • कभी कभी खाने पीने की चीज़ों के विपरीत प्रभाव के कारण भी गले में संक्रमण हो सकता है। 

 • इसके अलावा गले में खराश की समस्या अनुवांशिक भी हो सकती है।

 • ठंडे, खट्टे, एवं तले हुए खाद्य पदार्थों को खाने के कारण भी गले में सक्रमण हो सकता है।


 

  लक्षण


  • 100.5 ड्रिगी F या 38 ड्रिगी सेल्सियस से अधिक बुख़ार होना

 • गर्दन में सूजन होना

 • गले में दर्द होना

 • निगलने में कठिनाई होना

 • पेट में दर्द होना

 • भूख न लगना होना

 • मितली या उलटी होना

 • शरीर में पीड़ा होना

 • सांस लेने में कठिनाई होना

 

 

  आयुर्वेदिक उपचार : 


  • गरम पानी और नमक के गरारे (Gargle of warm water and salt)

 जब गले में खराश होती है तो श्लेष्मा झिल्ली (mucous membrane) की कोशिकाओं में सूजन हो जाती है। नमक इस सूजन (swelling) को कम करता है जिससे दर्द में राहत मिलती है। उपचार के लिए एक गिलास गुनगुने पानी में एक बड़ा चम्मच नमक मिलाकर घोल लें और इस पानी से गरारे करें। इस प्रक्रिया को दिन में तीन बार करें।


 • लहसुन (Garlic)

 लहसुन इंफेक्शन (infection) पैदा करने वाले जीवाणुओं को मार देता है। इसलिए गले की खराश में लहसुन बेहद फायदेमंद है। लहसुन में मौजूद एलीसिन (allicin) जीवाणुओं को मारने के साथ ही गले की सूजन और दर्द को भी कम करता है। उपचार के लिए गालों के दोनों तरफ लहसुन की एक एक कली रखकर धीरे धीरे चूसते रहें। जैसे जैसे लहसुन का रस गले में जाएगा वैसे वैसे आराम मिलता रहेगा। लहसुन का रस निकालने के लिए बीच बीच में दांतों से कुचलते रहें।


 • भाप लेना (Steaming)

 कई बार गले के सूखने के कारण भी गले में इंफेक्शन की शिकायत होती है। ऐसे में किसी बड़े बर्तन में गरम पानी करके तौलिया से मुंह ढककर भाप लें। ऐसा करने से भी गले की सिकाई होगी और गले का इंफेक्शन भी खत्म होगा। इस क्रिया को दिन में दो बार किया जा सकता है।


 • लाल मिर्च (Red chilli)

 गले की खराश को ठीक करने के लिए लाल मिर्च भी बेहद फायदेमंद है। उपचार के लिए एक कप गरम पानी में एक चम्मच लाल मिर्च और एक चम्मच शहद मिलाकर पीएं।


 • बेकिंग सोडा (Baking soda)

 गले की खराश दूर करने के लिए बेकिंग सोडा की चाय बेहद फायदेमंद है। कारण, बेकिंग सोडा में एंटी बैक्टीरियल (antibacterial) गुण होते हैं जो कि जीवाणुओं को नष्ट कर देते हैं। इसके लिए एक गिलास गरम पानी में बेकिंग सोडा और नमक मिलाकर दिन में तीन बार गरारे करें।


 • लौंग (Laung or Clove)

 लौंग का इस्तेमाल उपचार के लिए सदियों से होता आ रहा है। गले की खराश के उपचार के लिए लौंग को मुंह में रखकर धीरे धीरे चबाना चाहिए। लौंग एंटीबैक्टीरियल गुणों से भरपूर होती है जो गले के इंफेक्शन और सूजन को दूर करती है।


 • अदरक (Ginger)

 अदरक भी गले की खराश की बेहद अच्छी दवा है। अदरक में मौजूद एंटीबैक्टीरियल गुण गले के इंफेक्शन और दर्द से राहत देते हैं। गले की खराश के उपचार के लिए एक कप पानी में अदरक डाल कर उबालें। इसके बाद इसे हल्का गुनगुना करके इसमें शहद मिलाएं। इस पेय को दिन में दो से तीन बार पीएं। गले की खराश से आराम मिलेगा।


 • मसाला चाय (Masala Chay)

 लौंग, तुलसी (basil), अदरक और काली मिर्च (black pepper) को पानी में डालकर उबालें, इसके बाद इसमें चाय पत्ती डालकर चाय बनाएं। इस चाय को गरम गरम ही पीएं। यह भी गले के लिए बेहद लाभदायक उपाय है जिससे गले में तुरंत आराम मिलता है।

 सर्दी-खाँसी में गरम पानी से हल्दी की फँकी देने से आराम मिलता है तथा बलगम भी निकल जाता है। हल्दी एंटीबायटिक का काम भी करती है। इसे फेस पैक के रूप में बेसन के साथ लगाने से त्वचा में निखार आता है।


अदरक: यह पाचक है। पेट में कब्ज, गैस बनना, वमन, खाँसी, कफ, जुखाम आदि में इसे काम में लाया जाता है। अदरक का रस और शहद मिलाकर चाटते रहने से दमे में आराम मिलता है, साथ ही भूख भी बढ़ती है। यह पाचन ठीक करता है। नीबू-नमक से बना सूखा अदरक आप यात्रा में साथ रख सकते हैं।


मैथीदाना: मैथीदाना खून को पतला करता है, मल को बाँधता है। मधुमेह रोगी के लिए मैथीदाना रामबाण औषधि है। नित्य खाली पेट एक टी स्पून मैथी दाने का चूर्ण या आखा मैथी दाना पानी के साथ लेने से कब्ज व घुटने के दर्द में आराम मिलता है। साथ ही यह शरीर की अतिरिक्त चर्बी छाँटने में भी कारगर है। सर्दियों में यह बेहद फायदा करता है।


● जीरा:जीरा पाचक और सुगंधित है। खाने में अरुचि, पेट फूलना, अपच आदि को दूर करता है। *जीरा, अजवाइन* पीसकर थोड़ा सा 

सेंधा नमक डालकर भोजन के बाद लेने से पाचन ठीक रहता है।

उल्टी की शिकायत भी बंद हो जाती है।


कफ से आराम के घरेलू नुस्खे :-


✏- गुड और अदरक के रस को मिला कर रात को गरम पानी के साथ सेवन करें ।


✏- गरम पानी के साथ हल्दी खाएं, कफ खत्म होगा ।


✏- दालचीनी चूर्ण को रात में शहद मिला कर गरम पानी से सेवन करें।


✏- रात को काला नमक चूसना भी एक घरेलु नुस्खा है, इससे सुबह कफ़ निकल जाता है।


✏- कफ के घरेलू नुस्खे के लिए दिन में दो बार चुटकी भर अजवायन खाए।



खांसी के 11 बेस्ट घरेलु उपाय

  • शहद, नींबू और इलायची का मिश्रण- आधा चम्मच शहद में एक चुटकी इलायची और कुछ नीबू के रस की बूंदे डालिए। इस सिरप का दिन में 2 बार सेवन करें। आपको खांसी-जुकाम से काफी राहत मिलेगी।
  • हल्का गुनगुना पानी- जितना हो सके हल्का गुनगुना पानी पिएं। आपके गले में जमा कफ खुलेगा और आप सुधार महसूस करेंगे।
  • हल्दी वाला दूध- बचपन में सर्दियों में नानी-दादी घर के बच्चों को सर्दी के मौसम में रोज हल्दी वाला दूध पीने के लिए देती थी। हल्दी वाला दूध जुकाम में काफी फायदेमंद होता है क्योंकि हल्दी में एंटीऑक्सीडेंट होते हैं जो कीटाणुओं से हमारी रक्षा करते हैं। रात को सोने से पहले इसे पीने से तेजी से आराम पहुचता है. हल्दी में एंटी बैक्टीरियल और एंटी वायरल प्रॉपर्टीज मौजूद रहती है जो की इन्फेक्शन से लडती है. इसकी एंटी इंफ्लेमेटरी प्रॉपर्टीज सर्दी, खांसी और जुकाम के लक्षणों में आराम पहुंचाती है.
  • हल्का गुनगुना पानी और नमक से गरारे- हल्का गुनगुना पानी में चुटकी भर नमक मिला कर गरारे करने से खांसी-जुकाम के दौरान काफी राहत मिलती है। इससे गले को राहत मिलती है और खांसी से भी आराम मिलता है। यह भी काफी पुराना नुस्खा है।
  • अदरक और नमक- अदरक को छोटे टुकड़ों में काटें और उसमें नमक मिलाएं। इसे खा लें। इसके रस से आपका गला खुल जाएगा और नमक से कीटाणु मर जाएंगे।
  • लहसुन- लहसुन को घी में भून लें और गर्म-गर्म ही खा लें। यह स्वाद में खराब हो सकता है लेकिन स्वास्थ्य के लिए एकदम शानदार है।
  • शहद और ब्रैंडी- ब्रैंडी तो पहले ही शरीर गर्म करने के लिए जानी जाती है। इसके साथ शहद मिक्स करने से जुकाम पर काफी असर होगा।
  • मसाले वाली चाय- अपनी चाय में अदरक, तुलसी, काली मिर्च मिला कर चाय का सेवन कीजिए। इन तीनों तत्वों के सेवन से खांसी-जुकाम में काफी राहत मिलती है।
  • आंवला- आंवला में प्रचुर मात्रा में विटामिन-सी पाया जाता है जो खून के संचार को बेहतर करता है और इसमें एंटी-आक्सीडेंट्स भी होते हैं जो आपकी रोग-प्रतिरोधक क्षमता में इजाफा करता है।
  • अदरक तुलसी- अदरक के रस में तुलसी मिलाएं और इसका सेवन करें। इसमें शहद भी मिलाया जा सकता है।
  • काली मिर्च- अगर खांसी के साथ बलगम भी है तो आधा चम्मच काली मिर्च को देसी घी के साथ मिलाकर खाएं। आराम मिलेगा।


 बचाव  : 

  • नमक के गुनगुने पानी से गरारे करें। इससे गले में आराम मिलेगा।

 • अदरक, इलायची और काली मिर्च वाली चाय गले की खराश (Sore Throat) में आराम पहुंचाती है।

 • कम मसाले वाला भोजन लें।

 • फ्रिज का ठंडा पानी न पिएं, न ही अन्य ठंडी चीजें खाएं।

   




Comments

  1. Great work dear ....keep on providing the nice information ...

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  2. Thanks it's Great work done by u

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Priyanka04847@gmail.com

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